नई फसल की आवक से मक्का के दाम घटे: रिपोर्ट

मक्का बाजार ने पिछले महीनों में महत्वपूर्ण मूल्य उतार-चढ़ाव का अनुभव किया है, जो एथेनॉल उत्पादन, सरकारी नीतियों और बदलते मांग पैटर्न जैसे विभिन्न कारकों से प्रभावित हुआ है। एथेनॉल कंपनियों ने मक्का की खपत में 30% की वृद्धि की है, लेकिन सरकार द्वारा 2250 प्रति क्विंटल पर एथेनॉल की बिक्री ने मक्का की मांग को कम कर दिया है, जिससे इस महीने दाम में 100-125 प्रति क्विंटल की गिरावट आई है। मुख्य बिंदु: मूल्य में गिरावट: हरियाणा और पंजाब में मक्का के दाम 2,750 से घटकर 2,550 प्रति क्विंटल और मध्य प्रदेश में 2,200-2,250 प्रति क्विंटल हो गए हैं। उत्पादन में वृद्धि: मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और राजस्थान जैसे राज्यों में मक्का का उत्पादन बढ़ा है, जिससे बाजार में समायोजन हुआ है। नई फसल की आवक: बिहार, बंगाल, असम, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और कर्नाटक से ताजा मक्का की आवक स्थानीय और राष्ट्रीय बाजार की गतिशीलता को प्रभावित कर रही है। नमी का स्तर: बिहार में मक्का की कटाई 16-17% नमी के साथ शुरू हो गई है, जो 1 अप्रैल तक सुधारने की संभावना है, जिससे बेहतर ढुलाई और रामनवमी के बाद आवक में वृद्धि होगी। मूल्य में गिरावट के कारण: सरकारी चावल की आपूर्ति: एथेनॉल प्लांट 2,200 प्रति क्विंटल पर चावल को प्राथमिकता देते हैं, क्योंकि इसमें मक्का (58–62%) की तुलना में अधिक स्टार्च (67–68%) होता है। कमजोर निर्यात मांग: अंतरराष्ट्रीय मांग में कमी मक्का के दाम पर दबाव डाल रही है। सस्ता चावल उपलब्धता: नया चावल मक्का से 250–300 सस्ता है, जिससे मक्का की कुल मांग कम हो रही है। भविष्य की दृष्टि: मक्का व्यापारी और निर्यातक 100-150 प्रति क्विंटल की और गिरावट की संभावना की उम्मीद कर रहे हैं।

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